लखनऊ की तर्ज पर ग्रेटर नोएडा में बन सकता है लूलू ग्रुप का मॉल
1 min read–ग्रेनो प्राधिकरण के सीईओ रितु माहेश्वरी से मिले कंपनी के प्रतिनिधि
–1500 करोड़ रुपये का निवेश व 6000 युवाओं को रोजगार के अवसर
ग्रेटर नोएडा, 20 अक्टूबर।
ग्रेटर नोएडा में भी लखनऊ की तर्ज पर जल्द ही लुलू ग्रुप का मॉल बन सकता है। फूड प्रोसेसिंग व मॉल बनाने वाली देश की प्रमुख कंपनी लुलू ग्रुप ने ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण से जमीन उपलब्ध कराने की मांग है। बृहस्पतिवार को कंपनी के प्रतिनिधियों ने सीईओ रितु माहेश्वरी से मुलाकात की और अपनी परियोजना से अवगत कराया।
ग्रेटर नोएडा सिर्फ औद्योगिक ही नहीं, बल्कि वाणिज्यिक गतिविधियों के प्रमुख केन्द्र के रूप में उभर रहा है। ग्रेटर नोएडा व ग्रेनो वेस्ट की आबादी भी बहुत तेजी से बढ़ रही है। इस मौके को भुनाने के लिए वाणिज्यिक निवेशक यहां निवेश करने के लिए बहुत इच्छुक हैं। इन निवेशकों में लुलू ग्रुप का भी जुड़ने जा रहा है। लुलू ग्रुप ग्रेटर नोएडा में विश्वस्तरीय मॉल बनाना चाह रहा है। इसके लिए ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण से जमीन मांगी है। बृहस्पतिवार को कंपनी के प्रतिनिधियों ने ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण की सीईओ रितु माहेश्वरी से मुलाकात की और अपने प्रोजेक्ट के बारे में बताया। कंपनी प्रतिनिधियों ने बताया कि इस मॉल को बनाने में वे करीब 1500 करोड़ रुपये का निवेश करेंगे और करीब 6000 युवाओं को प्रत्यक्ष रोजगार के अवसर मिलेंगे। अगर अप्रत्यक्ष रोजगार को भी जोड़ लें, तो यह संख्या और भी अधिक हो जाएगी। बैठक में ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण की सीईओ रितु माहेश्वरी ने कंपनी प्रतिनिधियों को ग्रेटर नोएडा के मौजूदा इंफ्रास्ट्रक्चर व आगामी विकास परियोजनाओं के बारे में जानकारी दी। साथ ही आवंटन व प्राधिकरण के पेमेंट प्लान की जानकारी से भी अवगत कराया। उन्होंने प्राधिकरण की तरफ से हर संभव सहयोग का आश्वासन दिया है। इस बैठक में प्राधिकरण की तरफ से सीईओ रितु माहेश्वरी एसीईओ आनंद वर्धन, ओएसडी संतोष कुमार व महाप्रबंधक नियोजन सुधीर के अलावा कंपनी की तरफ से एग्जिक्यूटिव डाइरेक्टर अशरफ अली, डाइरेक्टर आनंद राम, सीईओ निशाद एमए, सीओओ रजत राधाकृष्णन, सीईओ नजमुद्दीन, रीजनल मैनेजर फहाज, रीजनल डाइरेक्टर जय कुमार शामिल रहे। बता दें कि ग्रेटर नोएडा में लुलू ग्रुप का यह दूसरा प्रोजेक्ट है। कंपनी इससे पहले ईकोटेक-10 में देश का सबसे बड़ा फूड पार्क बना रही है। यह फूड पार्क 20 एकड़ एरिया में करीब 500 करोड़ रुपये की लागत से बन रहा है। इससे स्थानीय किसान फल, सब्जी, दुग्ध उत्पादों को अच्छे दामों पर कंपनी (फूड पार्क) को बेच सकेंगे। उनको फसलों की अच्छी कीमत प्राप्त हो सकेगी। फूड पार्क से करीब 1700 युवाओं के लिए रोजगार के द्वार भी खुलेंगे। कंपनी इन उत्पादों का निर्यात मध्य एशिया व अन्य देशों को करेगी। अत्याधुनिक तकनीकों वाला यह प्रदेश का सबसे बड़ा फूड पार्क होगा। इस फूड पार्क में 20,000 मिट्रिक टन क्षमता का स्टोरेज भी होगा।
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