नोएडा : एमिटी विश्वविद्यालय में महिला स्वास्थ्य एवं कल्याण में नए फ्रंटियर्स की गोष्ठी सम्पन्न
1 min readनोएडा, 14 अगस्त।
एमिटी विश्वविद्यालय के एमिटी लॉ स्कूल नोएडा द्वारा ‘‘महिला स्वास्थय और कल्याण में नए फ्रंटियर्स का अनावरण – जी 20 परिपेक्ष्य को आगे बढ़ाना’’ विषय पर एक दिवसीय संगोष्ठी का आयोजन आई टू ब्लाक सभागार में किया गया। इस संगोष्ठी में देश भर के लगभग 80 विशेषज्ञों द्वारा पेपर प्रस्तुत किये गये। संगोष्ठी के समापन समारोह में पूर्व एमएलए प्रत्याशी श्री रविकांत मिश्रा, भारतीय जनता पार्टी की नोएडा महानगर की मिडिया इंचार्ज श्रीमती नीता बाजपेयी, उत्तराखंड उच्च न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश जस्टीस राजेश टंडन, एमिटी लॉ स्कूल के चेयरमैन डा डी के बंधोपाध्याय और एमिटी लॉ स्कूल नोएडा की संयुक्त प्रमुख डा शेफाली रायजादा द्वारा छात्रों को प्रोत्साहित किया गया।
संगोष्ठी के समापन समारोह में पूर्व एमएलए श्री रविकांत मिश्रा ने कहा कि महिला स्वास्थय व कल्याण पर की गई संगोष्ठी छात्रों की जानकारी बढ़ाने में सहायक होगी। आज केन्द्र व राज्य सरकार दोनो ही महिलाओं के स्वास्थय पर ध्यान केन्दीत करते हुए कई योजनाओं का संचालन कर रही है जिसका उन्हे लाभ प्राप्त हो रहा है। राष्ट्र निर्माण में आप युवाओ ंकी भूमिका बेहद महत्वपूर्ण है इसलिए आप अपने विचारों और सलाह से हमें अवगत करायें।
भारतीय जनता पार्टी की नोएडा महानगर की मिडिया इंचार्ज श्रीमती नीता बाजपेयी ने कहा कि महिला स्वास्थय और कल्याण क्षेत्र में आयोजित इस संगोष्ठी को केवल चर्चा तक सीमित नही होना चाहिए बल्कि आपको इस जागरूकता की मुहिम को आगे तक लेकर जाना चाहिए। समाज में कई ऐसी महिलायें है जो जानकारी के आभाव में अपने स्वास्थय पर ध्यान नही देती इसलिए उनको जागरूक करना आपका कर्तव्य है। विश्व व देश का निर्माण करने वाली महिला, घर व कार्यालय की जिम्मेदारी निभाने वाली महिलायें सदैव अपने स्वास्थय की अनदेखी करती है इसलिए यह और भी आवश्यक हो जाता है कि उन्हे जागरूक किया जाये और इसीसे स्वस्थ राष्ट्र व समाज का निर्माण होगा।
उत्तराखंड उच्च न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश जस्टीस राजेश टंडन ने कहा कि भारत के संविधान निर्माता द्वारा लिखित इस संविधान में आर्टिकल 15 और 51 ए में गरिमा शब्द का उपयोग किया गया है जो समाज के हर वर्ग के लिए है। हर व्यक्ति को गरिमापूर्ण जीवन जीने व स्वस्थ रहने का अधिकार है। महिलाओ के स्वास्थय और कल्याण के लिए माननीय सर्वोच्च न्यायालय द्वारा समय समय पर दिशा निर्देश जारी किये जाते है। इस प्रकार की संगोष्ठी से हम सभी जागरूक होगें और अन्य को जागरूक कर सकेगें।
एमिटी लॉ स्कूल के चेयरमैन डा डी के बंधोपाध्याय ने कहा कि एमिटी मे ंहम इस प्रकार की संगोष्ठीयों द्वारा छात्रों को उनके समाजिक कार्यो व जिम्मेदारियों के प्रति जागरूक करते है। देश के विकास के लिए महिलाओं को शारीरिक, मानिसिक, आर्थिक, भावनात्मक आदि रूप से स्वस्थ होना आवश्यक है। महिलाओं का स्वास्थय व कल्याण, महिला सशक्तीकरण से जुड़ा है इसलिए महिलाओं को शिक्षण व बराबरी के अवसर प्रदान करना आवश्यक है।
एमिटी लॉ स्कूल नोएडा की संयुक्त प्रमुख डा शेफाली रायजादा ने कहा कि इस संगोष्ठी के विभिन्न सत्रो ंमें देश विदेश से विशेषज्ञों ने ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनो माध्यम से पेपर प्रस्तुत किये।
संगोष्ठी के समापन पर संगोष्ठी के विषय पर आधारित सोवेनियर और बॉडी माइंड सोल – अंडरस्टैडिंग द वेलनेस ऑफ वूमेन वर्ल्ड’’ पर पुस्तक का विमोचन अतिथियों द्वारा किया गया। इस अवसर पर एमिटी लॉ स्कूल नोएडा के संयुक्त प्रमुख डा आदित्य तोमर और डा अरविंद पी भानू भी उपस्थित थे।
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