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एमिटी विश्वविद्यालय में फ्रांस की छात्रा मैरियन ग्रेनियन ने स्तनपान कराने वाली महिलाओं के लिए तैयार किया “गलेक्टोबॉल्स”

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नोएडा, 22 अगस्त।

एमिटी विश्वविद्यालय में इंटर्नशिप कर रही फ्रांस की छात्रा मैरियन ग्रेनियर ने स्तनपान करने वाली माताओं के लिए ‘‘गैलेक्टोबॉल्स’’ विकसित किया।

फ्रांस के यूनिवर्सिटी क्लेरमोंट औवेर्गन की बैचलर ऑफ साइंस, टेक्नोलॉजी और हेल्थ की छात्रा मैरियन ग्रेनियर ने एमिटी विश्वविद्यालय के एमिटी इंस्टीटयूट ऑफ फूड टेक्नोलॉजी मे अपनी इंटर्नशिप के दौरान स्तनपान कराने वाली माताओं के लिए ‘‘ गैलेक्टोबॉल्स’’ विकसित किया है। उन्होनें अपनी इंटर्नशिप के दौरान एमिटी इंस्टीट्यूट ऑफ फूड टेक्नोलॉजी के निदेशक डा वी के मोदी और एसोसिएट प्रोफेसर डा मोनिका ठाकुर के मार्गदर्शन में 15 जून से 21 अगस्त 2023 तक कार्य किया।

छात्रा मैरियन ग्रेनियर के शोध प्रोजेक्ट का शीर्षक ‘‘ स्तनपान कराने वाली माताओं के लिए कार्यात्मक खाद्य प्रदार्थो के विकास में पांरपरिक गैलेक्टागॉग्स और बाजरा का उपयोग’’ था जिसका उददेश्य स्तनपान कराने वाल माताओं के पोषण संबंधी आवश्यकताओं को पूरा करना था जिन्हे हासिल करना मुश्किल है। स्तनपान एक महिला के जीवन में एक महत्वपूर्ण अवधि है जिसके दौरान माताओं की पोषण संबंधी आवश्यकताएं विशेष रूप से प्रोटीन, कैल्शियम और आरयन के लिए बढ़ जाती है। विदित हो कि यह अतिरिक्त पोषक तत्व मॉ और उसके बच्चे दोनों के स्वास्थय के लिए आवश्यक है। गैलेक्टागॉग्स सिंथेटिक या पौधे के अणु है जिनका उपयोग माताओं में दुग्ध उत्पादन को प्रेरित करने, बनाए रखने और बढ़ाने के लिए किया जाता है इसलिए पोषण संबंधी आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए माइका्रेबियल विश्लेषण किया गया और पौधे आधारित भारतीय ‘‘ गैलेक्टागॉग्स’’ और बाजरा के साथ ‘‘गैलेक्टोबॉल्स’’ नामक उत्पाद विकसित किया गया जो भरपूर मात्रा में प्रोटीन, कैल्शियम प्रदान करता है।

अपने शोध कार्य के दौरान छात्रा मैरियन ग्रेनियर और उनकी गाइड एमिटी इंस्टीटयूट ऑफ फूड टेक्नोलॉजी की एसोसिएट प्रोफेसर डा मोनिका ठाकुर के साथ डेमों प्रशिक्षण के लिए गौतमबुद्ध नगर के बिसरख ब्लॉक के गढ़ी चौखड़ी गॉंव का दौरा किया और उन क्षेत्रों में स्तनपान कराने वाली माताओं के साथ बातचीत की एवं उनकी पोषण संबंधी आवश्यकताओं सहित उत्पाद के लाभों के बारे में जागरूक किया।

एमिटी विश्वविद्यालय में इंटर्नशिप के बारे में अनुभवों को साझा करते हुए सुश्री मैरियन ग्रेनियर ने कहा कि एमिटी विश्वविद्यालय के एमिटी इंस्टीटयूट ऑफ फूड टेक्नोलॉजी में अपनी इंर्टनशिप करना मेेरे लिए एक बेहतरीन अनुभव था, मै पूरे संस्थान के निदेशक और शिक्षकों की आभारी हूं जिन्होनें ना केवल मेरा स्वागत किया बल्कि मार्गदर्शन और शोध में सहायता भी की। एमिटी विश्वविद्यालय की प्रयोगशालओं में अनुसंधान व नवाचार की सभी सुविधाएं उपलब्ध है जो शोध कार्य को सुचारू रूप से और कुशलता पूर्वक संपन्न करने में सहायक होते है। उन्होनें कहा कि इस इंर्टनशिप के दौरान काफी कुछ सीखने को मिला और मौका मिलने में वह दोबारा भारत अवश्य आयेगीं।

एमिटी इंस्टीटयूट ऑफ फूड टेक्नोलॉजी के निदेशक डा वी के मोदी ने कहा कि एमिटी की शिक्षण व अनुसंधान गुणवत्ता से प्रभावित होकर हर वर्ष विदेशी संस्थानों से बड़ी ंसख्या में छात्र विभिन्न कार्यक्रमों के अंर्तगत आते है और शोध कार्यो में हिस्सा लेते है। इसी क्रम में फ्रांस के यूनिवर्सिटी क्लेरमोंट औवेर्गन की छात्रा मैरियन ग्रेनियर ने दो माह के इंर्टनशिप कार्यक्रम में हिस्सा लिया।

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