नोएडा,(नोएडा खबर डॉट कॉम)
गौतमबुद्धनगर पुलिस कमिश्नरेट, पुलिस कमिश्नर श्रीमती लक्ष्मी सिंह के कुशल नेतृत्व में, न केवल कानून-व्यवस्था को बनाए रखने में अपनी भूमिका निभा रहा है, बल्कि सामाजिक सौहार्द और पारिवारिक रिश्तों को सहेजने में भी अनुकरणीय कार्य कर रहा है। इसका एक जीवंत उदाहरण है Family Dispute Resolution Centre (FDRC), जो टूटते परिवारों को फिर से जोड़ने और रिश्तों में नई जान फूंकने का माध्यम बन रहा है। यह कहानी है एक ऐसे परिवार की, जिसके रिश्तों की डोर कमजोर पड़ रही थी, लेकिन गौतमबुद्धनगर पुलिस और FDRC की संवेदनशील पहल ने इसे टूटने से बचा लिया।
एक बिखरते परिवार की कहानी
थाना बिसरख क्षेत्र के चैरी काउण्टी में स्थित FDRC में श्रीमती अंजू (काल्पनिक नाम) ने अपने पति सुरेश (काल्पनिक नाम) के खिलाफ शिकायत दर्ज की। 26 अप्रैल 2006 को विवाह बंधन में बंधे अंजू और सुरेश की जिंदगी में शुरूआती साल खुशहाल थे। उनकी 17 साल की बेटी इस खुशी का प्रतीक थी। लेकिन समय के साथ छोटी-छोटी बातों पर होने वाले मतभेद ने उनके रिश्ते को कटुता और अविश्वास की आग में झोंक दिया। रोजमर्रा के विवाद, मनमुटाव और बदले की भावना ने उनके परिवार को बिखरने की कगार पर ला खड़ा किया। उनकी बेटी इस तनाव के बीच असहाय महसूस कर रही थी, और परिवार में सुख-शांति गायब हो चुकी थी।FDRC और पुलिस की संवेदनशील पहल
जब यह मामला FDRC के समक्ष आया, तो प्रभारी और महिला पुलिस टीम ने इसे गंभीरता और संवेदनशीलता के साथ लिया। गलगोटिया यूनिवर्सिटी के प्रोफेशनल काउंसलर्स और मनोवैज्ञानिक विशेषज्ञों की मदद से अंजू और सुरेश की काउंसलिंग शुरू की गई। काउंसलिंग सत्रों में दोनों पक्षों को खुलकर अपनी बात रखने का मौका दिया गया। विशेषज्ञों ने उनके बीच की गलतफहमियों को दूर करने, एक-दूसरे के दृष्टिकोण को समझने और रिश्तों में विश्वास की नींव को फिर से मजबूत करने पर जोर दिया। पुलिस और काउंसलिंग टीम ने धैर्य और संवाद के जरिए दोनों को यह समझाया कि विवादों का समाधान तलाक या अलगाव में नहीं, बल्कि आपसी समझ और सहयोग में है। उनकी बेटी के भविष्य को केंद्र में रखते हुए यह बताया गया कि एक सुखी और स्थिर परिवार ही उसकी खुशी का आधार बन सकता है।
थाना बिसरख क्षेत्र के चैरी काउण्टी में स्थित FDRC में श्रीमती अंजू (काल्पनिक नाम) ने अपने पति सुरेश (काल्पनिक नाम) के खिलाफ शिकायत दर्ज की। 26 अप्रैल 2006 को विवाह बंधन में बंधे अंजू और सुरेश की जिंदगी में शुरूआती साल खुशहाल थे। उनकी 17 साल की बेटी इस खुशी का प्रतीक थी। लेकिन समय के साथ छोटी-छोटी बातों पर होने वाले मतभेद ने उनके रिश्ते को कटुता और अविश्वास की आग में झोंक दिया। रोजमर्रा के विवाद, मनमुटाव और बदले की भावना ने उनके परिवार को बिखरने की कगार पर ला खड़ा किया। उनकी बेटी इस तनाव के बीच असहाय महसूस कर रही थी, और परिवार में सुख-शांति गायब हो चुकी थी।FDRC और पुलिस की संवेदनशील पहल
जब यह मामला FDRC के समक्ष आया, तो प्रभारी और महिला पुलिस टीम ने इसे गंभीरता और संवेदनशीलता के साथ लिया। गलगोटिया यूनिवर्सिटी के प्रोफेशनल काउंसलर्स और मनोवैज्ञानिक विशेषज्ञों की मदद से अंजू और सुरेश की काउंसलिंग शुरू की गई। काउंसलिंग सत्रों में दोनों पक्षों को खुलकर अपनी बात रखने का मौका दिया गया। विशेषज्ञों ने उनके बीच की गलतफहमियों को दूर करने, एक-दूसरे के दृष्टिकोण को समझने और रिश्तों में विश्वास की नींव को फिर से मजबूत करने पर जोर दिया। पुलिस और काउंसलिंग टीम ने धैर्य और संवाद के जरिए दोनों को यह समझाया कि विवादों का समाधान तलाक या अलगाव में नहीं, बल्कि आपसी समझ और सहयोग में है। उनकी बेटी के भविष्य को केंद्र में रखते हुए यह बताया गया कि एक सुखी और स्थिर परिवार ही उसकी खुशी का आधार बन सकता है।
रिश्तों में लौटी खुशियां
FDRC और पुलिस के अथक प्रयासों का परिणाम 18 सितंबर 2025 को सामने आया, जब अंजू और सुरेश ने एक-दूसरे के साथ फिर से जीवन शुरू करने का फैसला किया। यह केवल दो लोगों का फिर से मिलन नहीं था, बल्कि एक परिवार का पुनर्जनम था। उनकी बेटी के चेहरे पर माता-पिता को एकजुट देखकर जो खुशी लौटी, उसने FDRC और पुलिस की इस पहल को सार्थक कर दिया। बेटी ने गौतमबुद्धनगर पुलिस और काउंसलिंग टीम के प्रति हृदय से आभार व्यक्त किया।
FDRC और पुलिस के अथक प्रयासों का परिणाम 18 सितंबर 2025 को सामने आया, जब अंजू और सुरेश ने एक-दूसरे के साथ फिर से जीवन शुरू करने का फैसला किया। यह केवल दो लोगों का फिर से मिलन नहीं था, बल्कि एक परिवार का पुनर्जनम था। उनकी बेटी के चेहरे पर माता-पिता को एकजुट देखकर जो खुशी लौटी, उसने FDRC और पुलिस की इस पहल को सार्थक कर दिया। बेटी ने गौतमबुद्धनगर पुलिस और काउंसलिंग टीम के प्रति हृदय से आभार व्यक्त किया।
मिशन शक्ति 5.0: रिश्तों के साथ-साथ महिला सशक्तिकरण
यह पहल केवल एक परिवार तक सीमित नहीं है। पुलिस कमिश्नर श्रीमती लक्ष्मी सिंह के निर्देशन में गौतमबुद्धनगर पुलिस ने मिशन शक्ति 5.0 अभियान को नवरात्रि (22 सितंबर 2025) से और अधिक सक्रियता के साथ शुरू किया है। इस अभियान के तहत महिलाओं और बालिकाओं को उनके अधिकारों, साइबर सुरक्षा और अपराधों से बचाव के प्रति जागरूक किया जा रहा है। महिला बीट अधिकारियों और पुलिस स्टाफ ने समाज में महिला सुरक्षा और आत्मविश्वास की चेतना जगाने के लिए कई प्रभावी कदम उठाए हैं।
यह पहल केवल एक परिवार तक सीमित नहीं है। पुलिस कमिश्नर श्रीमती लक्ष्मी सिंह के निर्देशन में गौतमबुद्धनगर पुलिस ने मिशन शक्ति 5.0 अभियान को नवरात्रि (22 सितंबर 2025) से और अधिक सक्रियता के साथ शुरू किया है। इस अभियान के तहत महिलाओं और बालिकाओं को उनके अधिकारों, साइबर सुरक्षा और अपराधों से बचाव के प्रति जागरूक किया जा रहा है। महिला बीट अधिकारियों और पुलिस स्टाफ ने समाज में महिला सुरक्षा और आत्मविश्वास की चेतना जगाने के लिए कई प्रभावी कदम उठाए हैं।
पुलिस की नई छवि: रिश्तों का रक्षक
गौतमबुद्धनगर पुलिस की यह पहल समाज में एक नया संदेश दे रही है कि पुलिस केवल अपराधों से लड़ने वाली संस्था नहीं है, बल्कि वह रिश्तों की कड़ी जोड़ने और सामाजिक समरसता को बढ़ावा देने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती है। FDRC के माध्यम से टूटते परिवारों को बचाने की यह कोशिश न केवल अंजू और सुरेश जैसे दंपतियों के लिए, बल्कि समाज के हर उस व्यक्ति के लिए प्रेरणा है, जो रिश्तों में उलझनों का सामना कर रहा है। गौतमबुद्धनगर पुलिस ने न सिर्फ एक परिवार को टूटने से बचाया, बल्कि यह साबित कर दिखाया कि संवेदनशीलता, संवाद और सहयोग से रिश्तों की हर कमजोर कड़ी को फिर से मजबूत किया जा सकता है।
गौतमबुद्धनगर पुलिस की यह पहल समाज में एक नया संदेश दे रही है कि पुलिस केवल अपराधों से लड़ने वाली संस्था नहीं है, बल्कि वह रिश्तों की कड़ी जोड़ने और सामाजिक समरसता को बढ़ावा देने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती है। FDRC के माध्यम से टूटते परिवारों को बचाने की यह कोशिश न केवल अंजू और सुरेश जैसे दंपतियों के लिए, बल्कि समाज के हर उस व्यक्ति के लिए प्रेरणा है, जो रिश्तों में उलझनों का सामना कर रहा है। गौतमबुद्धनगर पुलिस ने न सिर्फ एक परिवार को टूटने से बचाया, बल्कि यह साबित कर दिखाया कि संवेदनशीलता, संवाद और सहयोग से रिश्तों की हर कमजोर कड़ी को फिर से मजबूत किया जा सकता है।