नोएडा : श्रीमद्भागवत कथा में बोले आचार्य पवन नंदन,ईश्वर से डरने की जरूरत नही बल्कि पाप और कुविचार से डरने की जरूरत
1 min readनोएडा, 23 मार्च।
सेक्टर 34 के कम्युनिटी सेंटर में चल रही श्रीमद्भागवत कथा शनिवार को सम्पन्न हो गई। भारतीय धरोहर के सौजन्य से आयोजित भागवत कथा के सातवें दिन आचार्य पवन नंदन महाराज ने कहा कि ईश्वर से डरने की कोई आवश्यकता नहीं है बल्कि पापकर्म और कुविचार से डरने की आवश्यकता है। संकल्प के साथ छोटा नियम बनाकर तन से डटने से अपने आप ही बड़ा काम हो जाता है।
रुक्मणी और राधा के बीच संवाद का वर्णन करते हुए कथाव्यास ने कहा कि प्रेम की धारा का नाम ही राधा है। श्रीराधा रानी का कोई वर्णन नहीं कर सकता है जिस तरह से श्रीहरि की कथा अनंत है उसी तरह से श्रीराधा रानी का वर्णन भी अनंत है।
आचार्य पवन नंदन महाराज ने कहा कि कथा भगवान की लालसा पैदा करती है। जब लालसा पैदा होती है तो मार्ग स्वंय ही प्रशस्त हो जाता है। मनुष्य का शरीर सीढी के समान है। जब दिशा ऊपर की ओर होगी तो मनुष्य स्वर्ग की ओर जाता है और जब दिशा नीचे की ओर होगी तो मनुष्य नर्क की ओर जाता है। कथा जीवन की दिशा बदलती है और जब दिशा बदलती है तो स्मरण रहे कि जीवन की दशा भी बदल जाती है।
श्रीमद्भागवत कथा के समापन पर हवन पूजन के उपरांत सभी भक्तों ने भंडारा प्रसाद लिया। कथा में मुख्य यजमान प्रमोद शर्मा,कथा संयोजक धर्मेन्द्र शर्मा,राहुल त्रिपाठी अनामिका भारद्वाज,एस पी चमोली,जगदीश जोशी,विश्व हिन्दू परिषद के राष्ट्रीय प्रवक्ता विजय शंकर तिवारी,शशिकांत शर्मा, नैवेद्य शर्मा, भारतीय धरोहर के संरक्षक अतुल शर्मा,प्रमोद गुप्ता,बीएचपी नेता लालमणी पांडेय,बीजेपी नेता गिरीश कोटनाला आदि मौजूद थे।
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