देश के जाने माने साहित्यकार प्रोफेसर सोमदत्त दीक्षित नही रहे, नोएडा में कई संगठनों ने दी श्रद्धांजलि
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नोएडा, 24 फरवरी।
देश के जाने माने साहित्यकार प्रोफेसर सोमदत्त दीक्षित का गुरुवार की सुबह सेक्टर 27 स्थित कैलाश हॉस्पिटल में निधन हो गया। वे 92 वर्ष के थे। शाम तीन बजे उनका अंतिम संस्कार सेक्टर 94 स्थित अंतिम निवास में किया गया।
जून 1929 में कानपुर में जन्मे प्रोफेसर सोमदत्त दीक्षित ने बर्मिंघम यूके में अपनी शिक्षा पूरी की। उन्होंने विभिन्न सरकारी पदों पर कार्य किया। लगभग 60 पुस्तकें लिखी। उन्हें विभिन्न भाषाओं मलयालम, संस्कृत, हिंदी, अंग्रेजी, रूसी, उर्दू और पंजाबी भाषाओं का ज्ञान था। वे शिक्षा सलाहकार रहे। वे पंजाब विश्व विद्यालय में प्रोफेसर रहे। समाज कल्याण विभाग में निदेशक रहे।
नोएडा में वे उत्तर प्रदेश समाज, चिंतना, अखिल भारतीय साहित्य परिषद व सूर्या संस्थान से जुड़े थे। 92 वर्ष की उम्र में भी वे दिल्ली पब्लिक लाइब्रेरी के सदस्य थे और पुस्तक लेने जाते थे। वे नोएडा सेक्टर 27 में रहते थे। उनके अंतिम संस्कार में जाने माने साहित्यकार प्रोफेसर लल्लन प्रसाद , चिंतना के कृष्णानंद सागर, उत्तर प्रदेश समाज के वीरेश तिवारी, बीजेपी के राष्ट्रीय प्रवक्ता गोपाल कृष्ण अग्रवाल, सूर्या संस्थान से डी के मित्तल, दिल्ली पब्लिक लाइब्रेरी के चेयरमैन राम शरण गौड़, पर्यावरणविद संजय शर्मा, ई एंड टी विशेषज्ञ डॉ एस पी जैन आदि मौजूद थे। उनके तीनो पुत्र इस अवसर पर उपस्थित थे।
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