नोएडा। लोकसत्य।
कला के क्षेत्र में नई प्रतिभाओं को मंच प्रदान करने वाली नोएडा की समाजसेवी संस्था कलांतर आर्ट फाउंडेशन 28 जुलाई से अपने वार्षिक राष्ट्रीय कला उत्सव 2025 का आयोजन करने जा रही है। यह उत्सव पूरी तरह ऑनलाइन होगा और इसमें देशभर के कलाकार पेंटिंग, लेखन, गायन, संगीत, नृत्य, अभिनय, स्टोरी-टेलिंग, संस्कृत श्लोक पाठ, और डिजिटल आर्ट जैसी नौ कला विधाओं में अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन करेंगे। नोएडा मीडिया क्लब में शुक्रवार को आयोजित प्रेस वार्ता में यह जानकारी कलांतर आर्ट फाउंडेशन के अध्यक्ष विशाल श्रीवास्तव द्वारा साझा की गई।
कला उत्सव का उद्देश्य और व्यापकता
कलांतर आर्ट फाउंडेशन के अध्यक्ष विशाल श्रीवास्तव ने बताया कि यह उत्सव पिछले कई वर्षों से देशभर की छिपी प्रतिभाओं को सामने लाने का काम कर रहा है। इस बार उत्सव में 5 लाख से अधिक प्रतिभागियों की भागीदारी का अनुमान है, जो इसे देश की सबसे बड़ी कला प्रतियोगिता बनाएगा। उन्होंने कहा, “हमारा लक्ष्य आधुनिक युवाओं को डिजिटल आर्ट के माध्यम से और सनातन संस्कृति को संस्कृत श्लोक पाठ के जरिए कला से जोड़ना है।”प्रतियोगिता में सरकारी और गैर-सरकारी स्कूलों, कॉलेजों, बंदीगृहों, बाल सुधार गृहों, नारी बंदी निकेतन, महिला आश्रमों, वृद्धाश्रमों, अनाथालयों, और एनजीओ संचालित स्कूलों से प्रविष्टियां आमंत्रित की गई हैं। संस्कृति मंत्रालय के क्षेत्रीय सांस्कृतिक केंद्रों को भी भागीदारी के लिए पत्र भेजा गया है।
ऑनलाइन और पारदर्शी प्रक्रिया
संस्था की निदेशक पूजा श्रीवास्तव ने बताया कि सभी प्रतियोगिताएं ऑनलाइन आयोजित होंगी, जिनमें कुछ एक चरण और कुछ तीन चरणों में होंगी। प्रविष्टियों का चयन और अंकन पूरी तरह ऑनलाइन और स्वचालित प्रणाली से होगा, जिससे प्रक्रिया पारदर्शी रहे।
चयन के लिए प्रमुख मानदंड हैं:
प्रविष्टि मूल (ओरिजिनल) हो, कॉपी नहीं।
दिए गए पांच विषयों में से किसी एक पर हो।
चुनी गई कला विधा का बेहतरीन उपयोग हो।
किसी धर्म, जाति, वर्ग, या लिंग की भावनाओं को ठेस न पहुंचाए।
तकनीकी सहयोग और आसान प्रक्रिया
उत्सव के टेक्नोलॉजी पार्टनर द आर्गस कंसल्टिंग के मैनेजिंग पार्टनर आलोक गर्ग ने बताया कि प्रविष्टियां भेजने की प्रक्रिया को बेहद सरल बनाया गया है। कोई भी व्यक्ति व्यक्तिगत प्रतिभागी, ग्रुप लीडर, या संस्था के सुपरवाइजर के रूप में आसानी से रजिस्टर कर सकता है। साइन-अप और प्रविष्टियां भेजने की गाइडिंग वीडियो भी ऑनलाइन उपलब्ध हैं।
अन्य गतिविधियां और पुरस्कार
प्रतियोगिताओं के साथ-साथ उत्सव में कला विधाओं की वर्कशॉप, स्टोरीटेलिंग सेशन, और चर्चित कलाकारों से मुलाकात जैसे आयोजन भी होंगे। संस्था के उपाध्यक्ष राजेश श्रीवास्तव ने बताया कि तीन महीने तक चलने वाले इस उत्सव का समापन दिल्ली में एक भव्य पुरस्कार समारोह के साथ होगा। दिल्ली से बाहर के विजेताओं को संस्था के खर्चे पर आमंत्रित किया जाएगा। सभी प्रतिभागियों को ऑनलाइन भागीदारी प्रमाणपत्र दिया जाएगा।
कला को बढ़ावा देने की पहल
विशाल श्रीवास्तव ने कहा, “कलांतर 2025 न केवल कला प्रतिभाओं को मंच देगा, बल्कि यह सनातन संस्कृति और आधुनिकता के बीच एक सेतु भी बनेगा। हमारा सपना है कि देश का हर कोना अपनी कला के रंगों से दुनिया को रंग दे।” यह आयोजन नोएडा के कला प्रेमियों और देशभर के उभरते कलाकारों के लिए एक सुनहरा अवसर है।